सरदारपुर। क्षेत्र में लगातार हुई अतिवृष्टि और प्राकृतिक आपदाओं के चलते सोयाबीन, मक्का, टमाटर, गोभी, मिर्च, फूल आदि फसलों को भारी नुकसान हुआ है। इन्हीं मुद्दों को लेकर सिर्वी समाज के किसानों ने मंगलवार को मुख्यमंत्री मध्य प्रदेश के नाम सरदारपुर एसडीएम आशा परमार को ज्ञापन सौंपा।इस दौरान सैकड़ों की संख्या में किसान नारेबाजी करते हुए एसडीएम कार्यालय पहुंचे और अपनी मांगों को लेकर आक्रोश व्यक्त किया। उन्होंने बताया कि लगातार बारिश से उनकी बुवाई की गई फसलें चौपट हो गईं, जिससे उनकी रोज़ी-रोटी पर संकट खड़ा हो गया है।
किसानों ने मांग की कि सरकार तत्काल सर्वे कराकर फसल का मुआवजा दे और सोयाबीन की खरीदी शीघ्र प्रारंभ करे। इसके साथ ही सोसाइटी में किसानों के लिए नगद खाद विक्रय केंद्र खोला जाए, खाद की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए और सिंचाई के लिए 12 घंटे बिजली प्रदान की जाए। प्रदेश की मंडियों में विदेशी फसलों की बिक्री बंद की जाए और न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) गारंटी कानून लागू किया जाए।ज्ञापन में यह भी कहा गया कि मंडीयो में बने टीन शेड किसानों के उपयोग के लिए खाली कराए जाएं। मांडू उद्वहन परियोजना से सरदारपुर क्षेत्र के 84 गांवों की 26,492 हेक्टेयर भूमि सिंचित होगी, इसलिए योजना को शीघ्र स्वीकृति देकर कार्य प्रारंभ किया जाए। समाज के निजी मंदिरों को शासकीय मंदिरों की सूची से हटाने की अपील भी की गई।सिर्वी समाज ने यह भी मांग की कि बैंक से ऋण लेने वाले किसानों के फसल नुकसान को देखते हुए ऋण माफ किया जाए, ताकि वे आर्थिक संकट से मुक्त होकर नई बुवाई कर सकें।किसानों ने चेतावनी दी कि यदि इन मांगों का समय पर समाधान नहीं हुआ तो वे मजबूर होकर कानूनी और अन्य विकल्प अपनाएंगे।
इस दौरान सिर्वी समाज धार जिला अध्यक्ष प्रेम सोलंकी, तहसील अध्यक्ष मुकेश काग,सहित केंद्रीय, प्रांतीय, जिला और तहसील संगठन के पदाधिकारी व धुलेट, अमोदिया, दलपुरा, सोनगढ़, करनावद, दत्तीगांव, छडावद, पिपरनी, रिंगनोद, रतनपुरा, गुमानपुरा, कंजरोटा, राजपुरा, चालनी, दंतोली सहित आसपास के गांवों से सैकड़ों की संख्या में किसान मौजूद थे उक्त जानकारी मीडिया प्रभारी धर्मेंद्र मोलवा रिंगनोद ने दी।