सरदारपुर। नेशनल बोर्ड फॉर वाइल्ड लाइफ द्वारा निर्धारित शर्तों में वन विभाग की त्रुटि को संज्ञान में लेने एवं संबंधित कार्य पर रोक लगाने हेतु पीड़ित किसानों ने एसडीएम कार्यालय पर नायब तहसीलदार केआर वास्कले को एवं वन विभाग कार्यालय पर ज्ञापन सोपा। ज्ञापन के माध्यम से किसानों ने बताया कि नेशनल बोर्ड फॉर वाइल्ड लाइफ (एनबीडब्ल्यू एल) की 80 वीं बैठक में 220 केवी विद्युत ट्रांसमिशन लाइन हेतु संबंधित निजी सप्रंग वायु विद्युत एजेंसी को अनुमति प्रदान की गई थी।
इस अनुमति में स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया था कि खरमोर अभयारण्य एवं उसके पर्यावरण-संवेदनशील क्षेत्र (ईएसजेड) में यह ट्रांसमिशन लाइन भूमिगत (अंडरग्राउंड) होगी, जबकि अभयारण्य अधिसूचित क्षेत्र से बाहर शेष भाग में इसे ओवरहेड रखने की अनुमति दी गई थी ,परंतु मप्र वन विभाग की एक प्रशासनिक त्रुटि के कारण आदेश की प्रतिलिपि में ओवरहेड शब्द अंकित हो गया, जिससे जिला वन विभाग, प्रशासन एवं संबंधित क्षेत्र के किसान गलतफहमी का शिकार हो रहे हैं।

यह त्रुटि न केवल सरकारी आदेशों की मूल भावना के विपरीत है। इस गंभीर त्रुटि को संज्ञान में लेते हुए स्पष्ट किया जाए, तथा जब तक संबंधित एजेंसी द्वारा किए जा रहे कार्य पर अविलंब रोक लगाई जाए। इस दौरान ग्राम अमोदिया के सोहन चोयल, भानूसिह सोलंकी, संतोष सोलंकी सहित राजगढ़ के बाबुलाल कुशवाह आदि पीड़ीत किसान ज्ञापन में मौजूद रहे है।