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मोहनखेड़ा तीर्थ के आचार्य श्री ऋषभचन्द्र जी को मिलेगा राजकीय अतिथि का दर्जा, नही चलने दिया जाऐगा अवैध बुचड़खानों को, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आचार्य पद पट्टाभिषेक महा महोत्सव में की घोषणा…

राजगढ़।  मुख्यमंत्री  शिवराजसिंह चौहान रविवार 7 मई को मोहनखेड़ा में ज्योतिष सम्राट व मुनिश्री ऋषभचन्द्रविजय जी विद्यार्थी म.सा. के ‘‘आचार्य पद पट्टाभिषेक महा महोत्सव कार्यक्रम’’ में शामिल हुए। इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री चैहान ने आचार्य श्री को काम्बली भेंट कर आषीर्वाद भी लिया।
मुख्यमंत्री  चौहान ने कहा कि मैं धन्य हूॅं कि मुझे ऐसे कार्यक्रम में आने का सुअवसर प्राप्त हुआ। आज का दिन मेरी जिन्दगी के सबसे यादगार दिनों में से एक है। उन्होने आचार्य श्री से तीन चीजे सद्बुद्धि देने, सन्मार्ग पर चलने तथा जनता की सेवा के लिए सामथ्र्य प्रदान करने का आषीर्वाद देने की प्रार्थना की। उन्होने कहा कि मोहनखेड़ा तीर्थ में मानव सेवा के लिए अखण्ड व्रत चलता है, यहाॅं शिक्षा, संस्कार, चिकित्सा, जल संरक्षण, गौ-सेवा, पीड़ित व षोषित वर्गो के लोगों के कल्याण हेतु विषेष प्रकल्प चलाए जाते है। उन्होने कहा कि मोहनखेड़ा जैसे पवित्र तीर्थ में आने भर से लोगों  के मन से कुविचार दूर हो जाते है और लोगों का मन पवित्र भावों से भर जाता है।

मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि ‘‘नमामि देवि नर्मदे’’ कार्यक्रम के माध्यम से प्रदेश में नदियों के संरक्षण, पर्यावरण सुधार, जल संरक्षण के प्रयासों के साथ ही बेटियों को बचाने का महा अभियान चलाया जा रहा है। बेटियों के बिना सृष्टि नही चल सकती है, बेटियाॅं है, तो कल है। उन्होने कहा कि जैन धर्म ने ‘‘जियो और जीने दो’’ का मूलमंत्र दिया है। जीवों के प्रति दया का भाव और अहिंसा का संदेष दिया गया है। हम सभी इसे आत्मसात करे और जीवों के प्रति दया का भाव रखे। उन्होने कहा कि मध्यप्रदेश की धरती पर कोई भी अवैध बूचड़खाना नही चलने दिया जाएगा।

मुख्यमंत्री  शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि आचार्य श्री ऋषभचन्द्र विजय जी म.सा. को राजकीय अतिथि का दर्जा प्रदान किया जाएगा। उन्होने आचार्य श्री से अनुरोध किया कि वे सम्पूर्ण प्रदेश का भ्रमण करे और पीड़ित मानवता की सेवा  के लिए मोहनखेड़ा तीर्थ द्वारा चलाए जा रहे प्रकल्पों को जन-जन तक पहुॅंचाए। शांति, सद्भाव व जीवदया के संबंध में समाज को नई दिशा प्रदान करे। मुख्यमंत्री  शिवराज सिंह चौहान ने आयोजकों से विनम्रतापूर्वक अनुरोध किया कि वे आज उनका स्वागत न करे। वे आज यहाॅं मुख्यमंत्री के रूप में नही, बल्कि आचार्य जी के षिष्य के रूप में शामिल होने आए है।

पट्टाभिषेक कार्यक्रम में गच्छाधिपति आचार्य श्री ऋषभचन्द्र विजय जी म.सा. ने कहा कि वे अभी तक जितने भी मुख्यमंत्री से मिले है, उनमें मुख्यमंत्री  शिवराज सिंह चौहान श्रेष्ठ है। उन्होने मुख्यमंत्री  चौहान को विवाह की 25वीं वर्षगाॅंठ मनाने पर बधाई भी दी। आचार्य श्री ने मुख्यमंत्री जी द्वारा अवैध बूचड़खाने बन्द किए जाने की घोषणा पर साधुवाद दिया तथा बेटी बचाओ अभियान के प्रति अपना समर्थन भी व्यक्त किया। उन्होने अभियान की सफलता के लिए आषीर्वाद देते हुए कहा कि बेटियों के बिना संसार नहीं चल सकता। भू्रण हत्या के रूप में कन्या हत्या का पाप नही किया जाना चाहिए।

कार्यक्रम में मोहनखेड़ा तीर्थ से प्रकाषित मासिक पत्रिका ‘‘ऋषभ चिंतन’’ का विमोचन भी किया गया। इस अवसर पर केन्द्रीय मंत्री  थावरचन्द्र गेहलोत, मंत्री यषोधरा राजे सिंधिया, भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय, सांसद  सावित्री ठाकुर, पूर्व केन्द्रीय मंत्री विक्रम वर्मा, विधायक धार श्रीमती नीना विक्रम वर्मा, विधायक मनावर  रंजना बघेल अन्य गणमान्य पदाधिकारीगण भी मौजूद थे।

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